State Uttar Pradesh अतीक के बेटे असद और एक अन्य की एसटीएफ के साथ मुठभेड़ में मौत KBC World NewsApril 13, 2023058 views लखनऊ/झांसी : उत्तर प्रदेश विशेष कार्यबल (एसटीएफ) ने बृहस्पतिवार को झांसी में माफिया अतीक अहमद के बेटे असद और उसके एक साथी गुलाम को मुठभेड़ में मार गिराया।विशेष अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (कानून व्यवस्था) प्रशांत कुमार ने कहा, “प्रयागराज में उमेश पाल हत्याकांड में वांछित असद अहमद और गुलाम पांच-पांच लाख रुपये के इनामी बदमाश थे। दोनों की झांसी में एसटीएफ के साथ मुठभेड़ में मौत हो गई।”कुमार ने बताया कि मुठभेड़ में शामिल उत्तर प्रदेश एसटीएफ की टीम का नेतृत्व पुलिस उपाधीक्षक नवेंदु कुमार और विमल कुमार सिंह ने किया। इस मुठभेड़ के बाद समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि झूठे एनकाउंटर करके भाजपा सरकार सच्चे मुद्दों से ध्यान भटकाना चाह रही है। बाद में कुमार ने पुलिस मुख्यालय में अपर पुलिस महानिदेशक (एसटीएफ) अमिताभ यश के साथ पत्रकारों से बातचीत में कहा कि इस अभियान में दो पुलिस उपाधीक्षक, दो निरीक्षक, एक उप निरीक्षक (एसआई), पांच हेड कांस्टेबल तथा दो कमांडो शामिल थे ।उन्होंने बताया कि मुठभेड़ में मारे गए आरोपियों के पास से अत्याधुनिक विदेशी हथियार बरामद किए गए हैं। इनमें ब्रिटिश बुलडाग रिवॉल्वर तथा वाल्थर पिस्तौल शामिल है । कुमार ने बताया कि यह घटना बृहस्पतिवार की दोपहर साढे़ बारह बजे से एक बजे के बीच हुई।उन्होंने कहा कि ऐसी खुफिया जानकारी मिली थी कि अतीक अहमद को साबरमती जेल से झांसी के रास्ते प्रयागराज लाने वाले वाहन पर हमला किया जा सकता है ।अतीक का नाम लिए बिना कुमार ने कहा, ‘हमें सूचना मिली थी कि साबरमती जेल से उमेश पाल हत्याकांड के आरोपी को लाने वाले काफिले पर हमला किया जा सकता है।’ उन्होंने बताया, ‘मुख्यमंत्री ने कार्रवाई में शामिल उप्र एसटीएफ और स्थानीय पुलिस के अधिकारियों को बधाई दी है।’ अधिकारी ने बताया कि यह मुठभेड़ उसी दिन हुई, जिस दिन गुजरात की साबरमती जेल से सड़क मार्ग से प्रयागराज ले जाए गए अतीक और उसके भाई अशरफ को उमेश पाल हत्याकांड के सिलसिले में मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी की अदालत में पेश किया गया।एसटीएफ अधिकारियों के मुताबिक, उमेश पाल की हत्या के बाद असद और गुलाम फरार थे और इन दोनों को पकड़ने के लिए एसटीएफ की कई टीमों को लगाया गया था। अधिकारियों के अनुसार, झांसी में बृहस्पतिवार को एसटीएफ की एक टीम ने जब मोटरसाइकिल से भागने की कोशिश कर रहे असद और गुलाम को रोका, तो दोनों ने उन पर गोलियां चलाईं। उन्होंने बताया कि एसटीएफ की जवाबी कार्रवाई में असद और गुलाम मारे गए। मौके की तस्वीरों और वीडियो में जमीन पर दो शव और उनके पास एक मोटरसाइकिल नजर आ रही है। बाद में एक एंबुलेंस से दोनों शवों को अस्पताल ले जाया गया। गौरतलब है कि 2005 में बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के विधायक राजू पाल की हत्या के मामले के मुख्य गवाह उमेश पाल और उसके दो सुरक्षा गार्ड की इस साल 24 फरवरी को प्रयागराज के धूमनगंज इलाके में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।उमेश पाल की पत्नी जया पाल की तहरीर पर 25 फरवरी को अतीक, उसके भाई अशरफ, पत्नी शाइस्ता परवीन, असद सहित दो बेटों, शूटर गुड्डू मुस्लिम व गुलाम तथा नौ अन्य लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया था। मुठभेड़ के बाद जया पाल ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और प्रशासन का आभार जताया। जया पाल ने कहा, “उन्होंने जो कुछ भी किया है, सही है। उन्होंने (मुख्यमंत्री ने) अपनी बेटी के पति के हत्यारे को सजा दी है। मैं अपना आभार व्यक्त करती हूं। वह पिता के समान हैं। न्याय हुआ है।”जया पाल ने उम्मीद जताई कि मामले के अन्य आरोपियों के खिलाफ भी कठोर कार्रवाई की जाएगी।यह पूछे जाने पर कि वह किन अन्य लोगों के खिलाफ कार्रवाई चाहती है, जया ने कहा, “मैं यह सरकार पर छोड़ती हूं। सरकार मुझे न्याय दे रही है।” इस बीच, समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने मुठभेड़ के बाद ट्वीट कर कहा, ”झूठे मुठभेड़ करके भाजपा सरकार सच्चे मुद्दों से ध्यान भटकाना चाह रही है। भाजपाई न्यायालय में विश्वास ही नहीं करते हैं। आजके व हालिया मुठभेड़ की भी गहन जांच-पड़ताल हो तथा दोषियों को नहीं छोड़ा जाए। सही-गलत के फ़ैसलों का अधिकार सत्ता का नहीं होता है। भाजपा भाईचारे के ख़िलाफ़ है।”बसपा प्रमुख मायावती ने ट्वीट कर कहा, ”अतीक अहमद के बेटे व एक अन्य की आज पुलिस मुठभेड़ में हुई हत्या पर अनेकों प्रकार की चर्चायें गर्म हैं। लोगों को लगता है कि विकास दुबे काण्ड के दोहराए जाने की उनकी आशंका सच साबित हुई है। अतः घटना के पूरे तथ्य एवं सच्चाई जनता के सामने आ सके इसके लिए उच्च-स्तरीय जांच जरूरी।” वहीं, उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने ट्वीट किया, “उप्र एसटीएफ को बधाई देता हूं। अधिवक्ता उमेश पाल और पुलिस के जवानों के हत्यारों का यही हश्र होना था।”मौर्य ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, “अगर आप अपराध नहीं करते हैं, तो कोई आपको हाथ तक नहीं लगाएगा। लेकिन, अगर आप अपराध करते हैं, तो आपको किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा।” उन्होंने कहा कि यह भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सरकार है, न कि समाजवादी पार्टी (सपा) की, जिसमें अपराधियों को बख्शा जाएगा। गौरतलब है कि 25 फरवरी को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उप्र विधानसभा में किसी का नाम लिये बगैर आरोप लगाया था, ‘‘वह समाजवादी पार्टी द्वारा पोषित माफिया है। उसकी कमर तोड़ने का काम हमारी सरकार ने किया है। हम इस माफिया को मिट्टी में मिला देंगे।’’ उन्होंने सपा की तरफ इशारा करते हुए कहा था, ‘‘यह पेशेवर अपराधियों के सरपरस्त हैं और यह लगातार यही करते आ रहे हैं। इनके रग-रग में अपराध भरा हुआ है। अपराध के अलावा इन्होंने कुछ सीखा ही नहीं है। पूरा उत्तर प्रदेश इस बात को जानता है और आज यह लोग अपनी सफाई देने के लिए यहां पर आए हैं।’’भाषा